नई दिल्ली: अमेरिका के दबाव और चेतावनियों के बावजूद भारत ने एक बार फिर रूसी तेल की खरीद शुरू कर दी है। सरकारी तेल कंपनियां इंडियन ऑयल (IOC) और भारत पेट्रोलियम (BPCL) ने सितंबर और अक्टूबर डिलीवरी के लिए रूस से कच्चा तेल खरीदा है।
जुलाई में रोक दी थी खरीद
जुलाई में इन कंपनियों ने रूसी तेल की खरीद अस्थायी रूप से रोक दी थी। इसकी वजह थी घटती हुई छूट और वॉशिंगटन की कड़ी आलोचना। अमेरिका ने भारत पर रूस से तेल खरीदने को लेकर दबाव बनाया था। इतना ही नहीं, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चेतावनी दी थी कि 27 अगस्त से भारतीय सामानों पर 25% अतिरिक्त टैक्स लगाया जाएगा।
अब क्यों फिर से शुरू हुई खरीद?
रूस के प्रमुख यूरल्स क्रूड पर छूट अब बढ़कर लगभग 3 डॉलर प्रति बैरल हो गई है। यह डील भारतीय रिफाइनर्स के लिए फायदेमंद मानी जा रही है। चीन पहले ही रूस से खरीद बढ़ा चुका है और अब भारत ने भी इसे फिर से शुरू कर दिया है।
इंडियन ऑयल ने खरीदे नए ग्रेड
सूत्रों के मुताबिक, इंडियन ऑयल ने सिर्फ यूरल्स ही नहीं बल्कि रूस के दूसरे क्रूड ग्रेड जैसे वरांडेय और साइबेरियन लाइट भी खरीदे हैं। हालांकि, भारतीय कंपनियां अपने कच्चे तेल के आयात पर आधिकारिक टिप्पणी नहीं करतीं।
“आर्थिक हित पहले” – इंडियन ऑयल
सोमवार को विश्लेषकों से बातचीत में इंडियन ऑयल ने साफ कहा कि कंपनी रूसी तेल की खरीदारी आर्थिक फायदे के आधार पर जारी रखेगी।